Latanupras Alankar (लाटानुप्रास अलंकार) की परिभाषा, 10 उदाहरण

लाटानुप्रास अलंकार की परिभाषा, उदाहरण – Latanupras Alankar

Latanupras Alankar kise kahte hai?

लाटानुप्रास अलंकार की परिभाषा :- किसी शब्द या वाक्यखंड की आवृत्ति दूसरी लाइन में उसी रूप में हो लेकिन दूसरी लाइन में वाक्य का अर्थ बदल जाये उसे लाटानुप्रास अलंकार कहते है| लाटानुप्रास अलंकार अनुप्रास अलंकार का ही एक भेद है।

पहचान :- लाटानुप्रास अलंकार के उदाहरण में लगभग 70% शब्द रिपीट होता है| (दूसरी बार वाक्य का अर्थ बदल जाता है|

लाटानुप्रास अलंकार के उदाहरण

1. पूत कपूत तो क्यों धन संचय, पूत सपूत तो क्यों धन संचय| 

2लड़का तो लड़का ही है।

3. तेग बहादुर वे ही थे, गुरु पदवी के पात्र समर्थ।
तेग बहादुर वे ही थे, गुरु पदवी के जिनके अर्थ।

4. वही मनुष्य है जो मनुष्य के लिए मरे 

5. माँगी नाव, न केवट आना|
माँगी नाव न, केवट आना|

6. पराधीन जो जन, नहीं स्वर्ग ता हेतु।
पराधीन जो जन नहीं, स्वर्ग नरक ता हेतु।

व्याख्या – इस उदाहरण में बताया है जो मनुष्य पराधीन है उनके लिए स्वर्ग नहीं हैं वही दूसरी तरफ जो मनुष्य स्वतंत्र है पराधीन नहीं उसके लिए नरक भी स्वर्ग से कम नहीं है।

अनुप्रास अलंकार के भेद –

अनुप्रास अलंकार 5 प्रकार के होते है

  1. छेकानुप्रास अलंकार
  2. वृत्यनुप्रास अलंकार
  3. श्रुत्यानुप्रास अलंकार
  4. लाटानुप्रास अलंकार
  5. अन्त्यानुप्रास अलंकार

आप यह अलंकार भी पढ़ सकते है-

छेकानुप्रास अलंकार
वृत्यनुप्रास अलंकार
श्रुत्यानुप्रास अलंकार
अन्त्यानुप्रास अलंकार
अनुप्रास अलंकारयमक अलंकारश्लेष अलंकार
पुनरुक्ति | वीप्सा अलंकारवक्रोक्ति अलंकारविशेषोक्ति अलंकार
उपमा अलंकारप्रतीप अलंकाररूपक अलंकार
उत्प्रेक्षा अलंकारव्यतिरेक अलंकारविभावना अलंकार
अतिशयोक्ति अलंकारउल्लेख अलंकारसंदेह अलंकार
भ्रांतिमान अलंकारअन्योक्ति अलंकारअनंवय अलंकार
दृष्टांत अलंकारअपँहुति अलंकारविनोक्ति अलंकार
ब्याज स्तुति अलंकारब्याज निंदा अलंकारविरोधाभास अलंकार
अत्युक्ति अलंकारसमासोक्ति अलंकारमानवीकरण अलंकार

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